देवरिया। छठ महापर्व समाप्त होने के बाद घर लौटने वाले यात्रियों की भारी भीड़ ने जिले की परिवहन व्यवस्था को पूरी तरह चरमरा दिया है। बुधवार को देवरिया रोडवेज डिपो से लेकर रेलवे स्टेशन तक यात्रियों का सैलाब उमड़ पड़ा। बसों की कमी और ट्रेनों में सीटों के अभाव ने यात्रियों को घंटों तक परेशान रखा।
बसों की कमी, घंटों इंतजार और अफरातफरी
सुबह से ही रोडवेज बस स्टैंड पर भीड़ बढ़ती रही। सीमित बसों के चलते यात्रियों को सीट मिलने के लिए धक्का-मुक्की की नौबत आ गई।
- करीब डेढ़ दर्जन लंबी दूरी की बसें होने से लोकल रूट प्रभावित
- गोरखपुर, बलिया, सलेमपुर, सीवान और पटना जाने वाले यात्रियों को सबसे अधिक दिक्कत
एआरएम कपिलदेव प्रसाद ने बताया कि
“छठ के बाद लौटने वालों की संख्या सामान्य से तीन गुना ज्यादा है, हर बस फुल होकर ही निकल रही है।”
प्राइवेट वाहनों की मनमानी, किराए में बढ़ोतरी
रोडवेज की बसें कम पड़ने पर यात्रियों की मजबूरी का फायदा उठाते हुए प्राइवेट बस, टैक्सी और ऑटो चालकों ने किराया बढ़ा दिया।
- सामान्यत: ₹50 वाले किराए वाले रूट पर ₹100-150 तक वसूला गया
मालवीय रोड निवासी मीना गुप्ता ने बताया—
“तीन घंटे इंतजार के बाद भी बस नहीं मिली, आखिरकार दोगुना किराया देकर प्राइवेट बस लेनी पड़ी।”
भीड़ बढ़ने पर बस स्टैंड पर कई बार पुलिस को हस्तक्षेप करना पड़ा।
रेलवे स्टेशनों पर भी हालात बेकाबू
बसों की कमी से निराश लोगों ने रेलवे का रुख किया, लेकिन यहां भी स्थिति चिंताजनक रही।
- प्लेटफॉर्म यात्रियों से पटे रहे
- लंबी दूरी की ट्रेनों में नो रूम और वेटिंग 200+
आरक्षण काउंटरों पर सुबह से लंबी कतारें लगी रहीं। कई लोगों को टिकट न मिलने पर खाली हाथ लौटना पड़ा।
नोएडा निवासी कमलेश सिंह ने बताया—
“चार दिन पहले टिकट कराना चाहा था, वेटिंग में चला गया। अब तत्काल टिकट के लिए रात भर लाइन लगानी पड़ रही है।”
रात में टिकट के लिए लाइन
देवरिया सदर स्टेशन पर रात 10 बजे से ही तत्काल टिकट के लिए लाइन लगना शुरू हो जाती है और सुबह तक जारी रहती है। फिर भी अधिकांश यात्रियों को सीट नहीं मिल पा रही।
रेलवे अधिकारियों का कहना है कि त्योहारों के बाद ऐसी स्थिति सामान्य है। यात्रियों को ऑनलाइन बुकिंग या आगे की तारीख चुनने की सलाह दी गई है।
अगले कुछ दिन और मुश्किल
अधिकारियों के अनुसार, भीड़ अगले 3-4 दिनों तक बनी रह सकती है।
- रोडवेज ने अतिरिक्त बसें चलाने का प्रस्ताव भेजा
- रेलवे ने अतिरिक्त कोच की मांग की
व्यवस्थाओं पर उठे सवाल
यात्रियों का आरोप है कि हर साल छठ के बाद यही हाल होता है, लेकिन कोई पूर्व तैयारी नहीं की जाती।
यात्री दीपक मिश्र ने कहा—
“त्योहार के बाद बढ़ती भीड़ को देखते हुए प्रशासन को पहले से ही बसें और विशेष ट्रेनें बढ़ा देनी चाहिए थीं।”


























































































































































































































































































































































































































